राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन कार्यक्रम में सभी ANM और सभी सरपंचों के साथ दादा भगवान मंदिर, नवागाम ,कामरेज़ में भारत की परमाणु सहेली ने विशाल सभा को अपने पीपीटी प्रजेंटेशन के जरिए सम्बोधित करते हुए बताया कि आज भारत स्वयं को जमीनी स्तर पर दो विशिष्ट योजनाओं के सफलतापूर्वक क्रियान्वयन के मार्ग पर सज्ज कर रहा है। उन दो विशिष्ट योजनाओं में से एक है “नौ नवरत्नों युक्त ग्राम पंचायत विकास प्लान” और दूसरी है “प्रत्येक जिले में स्मार्ट मॉड्यूलर प्लांट्स की स्थापना”।
इन दो प्रमुख योजनाओं के क्रियान्वयन में भारत के प्रत्येक ग्राम व प्रत्येक शहर की जल व ऊर्जा में आत्मनिर्भरता निश्चित है। भारत के प्रत्येक युवक-युवति व वयस्क के लिए रोजगार व नौकरियाँ निहित हैं। दौनों विशिष्ट योजनाओं के सफलतापूर्वक क्रियान्वयन से वर्ष 2030 तक भारत के ग्रामीण परिवारों की सालाना औसतन आय 9 से 15 लाख रूपये के मध्य पहुँच सकेगी। जोकि वर्तमान में मात्र 42000 रूपये ही है। वर्ष 2030 तक भारत एशिया महाद्वीप में शीर्ष स्तर तक पहुंच सकेगा।

प्रत्येक जिले पर स्मार्ट मॉड्यूलर संयंत्रों की स्थापना से उस जिले के सभी उद्योगों व रेलवे को जिन्हें बेसलोड बिजली व उच्च ताप वाली उष्मा ऊर्जा की आवश्यकता होती है, सतत रूप में मिल सकेगी। ये संयंत्र पानी से हाइड्रोजन गैस का भी उत्पादन कर सकेंगे जो कोयला-डीजल-पेट्रोल-गैस की कमी को पूरा करेगी। साथ ही, जिले के घरों में शुद्ध पेयजल आपूर्ति हेतु पानी के शुद्धिकरण व निलवणीकरण का कार्य भी ये स्मार्ट मॉड्यूलर संयंत्र ही करेंगे।
फसल से उपजे कच्चे माल या उपभोक्ता हेतु तैयार माल को साल तक खराब होने से बचाने के लिए ग्राम पंचायत स्तर पर रेडियो विकिरण तकनीकी आधारित भंडारण कक्षों की स्थापनाएं भी इन्हीं संयंत्रों से समबन्धित है। परमाणु ऊर्जा से सम्बंधित इन भंडारण कक्षों में सभी प्रकार के फलों को सुरक्षित रखा जा सकेगा और इस प्रकार के संरक्षित खाद्य पदार्थों की वैश्विक बाजार में अच्छी कीमत पर बहुत डिमांड रहती है। इसके अतिरिक्त जानलेवा बीमारियों के उपचार व पाईप लाइनों में लीक चेक इत्यादि आवश्यक रेडियोआइसोटॉप भी इन्हीं स्मार्ट मोड़ीलार संयंत्रों से सम्बंधित हैं।

प्रत्येक ग्राम पर “नौ नवरत्नों युक्त ग्राम पंचायत विकास प्लान” के जरिए उस गांव में क्षेत्रीय वॉटरशेड का विकास, हर खेत पर जलखेत व सौलर पम्प की स्थापना, फ़ार्मबंडिंग, फलदार वृक्षों का रोपण, खेत तारबंदी, चरवाहों के विकास व क्षत्रीय नदी-नहर-जलाशयों की स्थापना हो सकेगी। प्रत्येक घर पर रसोई व बाथरूम से निकले पानी को सीधे जमीन के अंदर पहुँचाने के लिए सोख पिट का निर्माण होगा। प्रत्येक घर की छत पर सौलर पैनल स्थापित होने से उस घर में लाइट की व्यवस्था हो सकेगी। ग्राम पंचायत स्तर पर हर घर को सस्ते दामों पर रसोई गैस व कृषि के लिए आवश्यक प्राकृति खाद व कीटनाशक दवा की सप्लाई हेतु मवेशियों के गोबर व कृषि कचरे से बायोगैस-बायो फर्टीलाईजर-बायो कीटनाशक संयंत्र स्थापित होना है। कृषि हेतु कृषि यंत्र केंद्र की स्थापना हो सकेगी। मवेशियों के दूध व खाद्यान पदार्थों को सीधे उपभोक्ता तक पहुँचाने के लिए दूध व खाद्य प्रसंस्करण संयंत्र लगेंगे। फसल से उपजा कच्चा या तैयार माल साल तक खराब नहीं हो इस हेतु रेडियो विकिरण तकनीकी आधारित भंडारण कक्ष स्थापित हो जाने हैं। परमाणु ऊर्जा से सम्बंधित इन भंडारण कक्षों में सभी प्रकार के फलों को सुरक्षित रखा जा सकेगा। ग्राम स्तर एक सामुदायिक बरात घर, इंटर इंटरकॉलेज, अस्पताल व बालबाड़ी की विकसित व्यवस्था होगी। यातायात हेतु खेतों को सीधे राजमार्गों से जोड़ती हुई यातायात की व्यवस्था होगी। औसतन 1000 परिवार वाले ग्राम पंचायत स्तर पर तकरीबन 2500 लोगों के लिए ग्रामीण परिवेश में ही उत्तम रोजगारों की व्यवस्था हो सकेगी।
ग्राम स्तर पर स्थापित होने वाले सभी संयंत्रों में कच्चे माल की आवक व तैयार माल की जावक से लेकर इन संयंत्रों के प्रचालन व रक्षण-अनुरक्षण में मुख्यतः उसी ग्राम के शिक्षित-अर्धशिक्षित-अशिक्षित वयस्क कार्य करेंगे।

डॉ. नीलम गोयल ने बताया कि, स्पष्टतः, सौलर ऊर्जा खेतों में सिचाई हेतु सोलर पम्पों के रूप में-घरों-दफ्तरों–सडकों इत्यादि पर प्रकाश हेतु सोलर पैनलों के रूप में बिजली उत्पादन का मुख्य स्त्रोत बनेगी। भारत देश में हर वर्ष की कुल सौर ऊर्जा को पूर्णतः बिजली में परिवर्तित कर भी लिया जाय तो भी, 130 करोड़ की जनसंख्या में प्रत्येक व्यक्ति को औसतन 1000 यूनिट एक वर्ष में ही मिल सकेगी। जबकि, भारत को वर्तमान में भी कम से कम 5000 यूनिट की औसत दर बिजली की आवश्यकता है।परमाणु ऊर्जा वाले स्मार्ट मॉड्यूलर संयंत्र बेसलोड बिजली की आपूर्ति में सहायक बनेंगे। और बायो ऊर्जा प्लांट ग्रामीण इलाकों के परिवारों को बेहद सस्ती रसोई गैस सप्लाई में सहायक बनेंगे। कार्यक्रम में ज़िला विकास अधिकारी डी .ऐस . गढ़वी व सभी अधिकारी व कर्मचारियों ने शपथ ली व कार्यक्रम के सराहना के।